Bseb Class 10 Science रासायनिक अभिक्रियाएँ एवं समीकरण

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Bihar Board Class 10th Science Chapter 1 Rasayanik Abhikriya avam Samikaran

पाठ – 1 : रासायनिक अभिक्रियाएँ एवं समीकरण

1. रासायनिक अभिक्रिया क्या है ?

उत्तर – जब कोई पदार्थ अकेले ही या किसी अन्य पदार्थ से क्रिया करके एक या अधिक भिन्न गुण वाले नए पदार्थ का निर्माण करता है | तब वह प्रक्रिया रासायनिक अभिक्रिया कहलाती है |

2. रासायनिक अभिक्रिया की मुख्य विशेषताओं का वर्णन करे ?

उत्तर – रासायनिक अभिक्रिया की मुख्य विशेषताएँ निम्नलिखित है, जो इस प्रकार से है –

क. गैस की उत्पति :- कुछ रासायनिक अभिक्रिया ऐसी होती है, जिसमे गैस की उत्पति होती है |

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ख. अवक्षेप की उत्पति :- अवक्षेप एक ठोस पदार्थ है, जो रासायनिक अभिक्रिया के फलस्वरूप बनता है |

ग. रंग में परिवर्तन :- कुछ रसायनिक अभिक्रियाओ के फलस्वरूप पदार्थ के रंग में परिवर्तन होता है |

घ. ताप में परिवर्तन :- कुछ रासायनिक अभिक्रियाओ के फलस्वरूप ताप में परिवर्तन होता है |

ङ. अवस्था में परिवर्तन :- कुछ रासायनिक अभिक्रियाओ के फलस्वरूप पदार्थ के अवस्था में परिवर्तन होता है |

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3. रासायनिक समीकरण से आप क्या समझते है’’ एक उदाहरण दें कर समझाएँ ?

उत्तर – किसी रासायनिक अभिक्रिया में भाग – लेने वाले पदार्थो के संकेतो एवं सूत्रों की सहायता से उस अभिक्रिया के संक्षिप्त निरूपण रासायनिक समीकरण कहलाता है | जैसे में हाइड्रोजन और क्लोरिन के मिश्रण को सूर्य के प्रकाश में रखने पर हाइड्रोजन क्लोराइड बनता है |
H2a + cl2 – 2hcl हाइड्रोजन + क्लोरिन – हाइड्रोजन क्लोराइड

4. रासायनिक समीकरण लिखने के नियम को लिखे ?

उत्तर – रासायनिक समीकरण लिखने के निम्नलिखित नियम होते है, जो इस प्रकार से है –
. अभिकारको के सूत्रों के बिच घन – चिन्ह ( + ) दिया जाता है |
. अभिक्रिया के प्रतिफलो को संकेतो या अनुसुत्रो के पदों में समीकरण के दाई ओर लिखा जाता है |
. प्रतिफलो के सूत्रों के मध्य ( बिच ) आवश्यकता अनुसार घन – चिन्ह का प्रयोग किया जाता है |
. अभिकारको और प्रतिफलो को एक तीर – चिन्ह द्वारा निरुपित किया जाता है |

5. संतुलित रासायनिक समीकरण तथा असंतुलित रासायनिक समीकरण से आप क्या समझते है ?

क. संतुलित रासायनिक समीकरण :- वैसा रासायनिक समीकरण जिसमे समीकरण के दोनों ओर प्रत्येक तत्व के परमाणुओ की संख्या समान होती है | उसे संतुलित रासायनिक समीकरण कहते है |
जैसे में :- H2 + Cl2  – 2Hcl हाइड्रोजन और क्लोरिन के बिच अभिक्रिया करने से हाइड्रोजन और क्लोरिन बनता है |

ख. असंतुलित रासायनिक समीकरण :- वैसा रासायनिक समीकरण जिसमे समीकरण के दोनों ओर तत्वों के परमाणुओ की संख्याएँ समान नहीं होती है | जैसे :- हाइड्रोजन और आँक्सीजन के बिच रासायनिक अभिक्रिया कराने के फलस्वरूप जल का निर्माण होता है |
H2 + O2  – H2O अभिकारक प्रतिफल

6. रासायनिक समीकरण से प्राप्त होने वाली सूचनाओं को लिखे ?

उत्तर – रासायनिक समीकरण से प्राप्त होने वाली सूचनाएँ निम्नलिखित है, जो इस प्रकार से है –
. यह अभिक्राको एवं प्रतिफलो के संकेतो एवं सूत्रों की जानकारी देता है |
. यह बताता है, की अभिक्रिया में कौन – कौन से पदार्थ भाग ले रहे है | और अभिक्रिया के फलस्वरूप कौन – कौन सा पदार्थ का निर्माण होता है |
. यह अभिकारको और प्रतिफलो के द्र्व्यमानो के अनुपात का जानकारी देता है |
. यह अभिकारको एवं प्रतिफलो के मोलो की अनुपात की जानकारी देता है |
. यह अभिक्रिया में भाग लेने वाले अभिकारको के परमाणुओ एवं अणुओ के आपेक्षित संख्या की जानकारी देता है |

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7. रासायनिक समीकरण से क्या – क्या फायदे है,, अथवा रासायनिक समीकरण के उपयोग से लाभ को लिखे ?

उत्तर – रासायनिक समीकरण के उपयोग से निम्नलिखित लाभ है,, जो इस प्रकार से है –

. किसी भी रासायनिक अभिक्रिया का समीकरण के रूप में निरूपण आसान होता है | इससे समय की बचत होती है | तथा लिखने के लिए कागज पर कम स्थान की आवश्यकता होती है |

. रासायनिक समीकरण की सहायता से प्रतिफल की एक निश्चित मात्रा के निर्माण के लिए आवश्यक अभिक्राको के द्र्व्यामानो की गणना ठीक – ठीक की जा सकती है |

. सम्पूर्ण विश्व में एक ही प्रकार के रासायनिक संकेतो का उपयोग होता है | अतः वैज्ञानिको को रासायनिक समीकरण की जानकारी प्राप्त करने में किसी भी प्रकार की कठिनाई नहीं होती है |

8. रासायनिक समीकरण की क्या सीमाएं है ?

उत्तर – रासायनिक समीकरण की निम्नलिखित सीमाएं है, जो इसे प्रकार से है –

. रासायनिक समीकरण से अभिकारको और प्रतिफलो की भौतिक अवस्था ( ठोस , द्रव या गैस ) की जानकारी नहीं हो पाती है |

. अभिक्रिया के फलस्वरूप उत्सर्जित या अवशोषित ऊष्मा की जानकारी रासायनिक समीकरण से नहीं हो पाती है | अर्थात समीकरण यह जानकारी नहीं देता है | की अभिक्रिया ऊष्मा क्षेपी है या ऊष्मा शेष है |

. रासायनिक समीकरण से पता नहीं चलता है | की अभिक्रिया किन दशाओं दाब , ताप , सांद्रण , उत्प्रेरक की उपस्थिति आदि में संभव है |

. कुछ रासायनिक अभिक्रियाएँ विस्फोट के साथ होती है | परन्तु रासायनिक समीकरण से इस बात की कोई जानकारी नहीं होती है |

. रासायनिक समीकरण अभिक्रिया के वेग के सन्दर्भ में कोई जानकारी नहीं देता है |

9. संयोजन या संश्लेष्ण अभिक्रिया से आप क्या समझते है’’ उदाहरण के साथ उत्तर दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे दो या दो से अधिक पदार्थ परस्पर संयोग करके एक नए पदार्थ का निर्माण करते है | तथा इस नए पदार्थ का गुण मूल पदार्थ के गुण से बिलकुल भिन्न होते है | उसे संयोजन या संश्लेष्ण अभिक्रिया कहते है |
जैसे :- कार्बन को आँक्सीजन के बिच अभिक्रिया कराने के फलस्वरूप दोनों तत्व आपस में संयोग करके कार्बन डाईआक्साइड यौगिक बनाते है |
C + O2  – Co2
कार्बन आँक्सीजन कार्बन डाईआक्साइड

10. वियोजन या अपघटन अभिक्रिया से आप क्या समझते है | उदाहरण के साथ उत्तर दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे किसी यौगिक के बड़े अणु के टूटने से दो या दो से अधिक सरल यौगिक बनते है | जिनके गुण मूल यौगिक के गुण से बिलकुल भिन्न होते है | उसे वियोजन या अपघटन अभिक्रिया कहते है |
CaCo3 – Cao + Co2
जैसे :- कैल्सियम कार्बोनेट को गर्म करने पर वह अपघटित होकर कैल्सियम आक्साइड और कार्बन डाईआक्साइड को बाहर निकलता है |

उदाहरण :- पोटैशियम क्लोरेट को गरम करने पर वह अपघटित होकर पोटैशियम क्लोराइड बनाता है | और आँक्सीजन गैस निकलती है | जैसे :- 2KCIO3 – 2KCI + 3O2

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11. एकल विस्थापन अभिक्रिया से आप क्या समझते है’’ उदाहरण सहित उत्तर दे ?

उत्तर – वह अभिक्रिया जिसमे किसी अणु में उपस्थित किसी परमाणु या परमाणुओ के समूह को किसी दुसरे परमाणु द्वारा विस्थापित कर दिया जाता है | तब उसे एकल विस्थापन अभिक्रिया कहते है | जैसे ;- एक लोहे की काँटी कॉपर सल्फेट के जलीय विल्यम में डाल दिया जाता है | तब लोहा कॉपर सल्फेट से कॉपर को विस्थापित कर देता है | तथा फेरस सल्फेट बनाता है |
अर्थात :- Fc + Cuso4  – Feso4 + Cu 
लोहा,, कॉपर सल्फेट,, फेरस सल्फेट,, कॉपर
जैसे :- जब कॉपर की एक प्लेट सिल्वर नाइट्रेट के जलीय विलयन में डाला जाता है | तब सिल्वर कॉपर द्वारा विस्थापित हो जाता है |
Cu + 2Ag No3  – Cu ( No3 )2 + 2Ag

12. उभय – विस्थापन अभिक्रिया की परिभाषा उदाहरण के साथ उत्तर दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे दो यौगिक अपने आयनों का आदान – प्रदान या विनियम करके दो नये यौगिक का निर्माण करते है | वैसी अभिक्रिया को उभय विस्थापन कहते है | जैसे :- सोडियम क्लोराइड के विलयन डालने पर सिल्वर क्लोराइड और सोडियम नाइट्रेट बनते है | सिल्वर क्लोराइड सफेद अवक्षेप के रूप में प्राप्त होता है |
Nacl + Agno3  – Agcl + Nano3

13. अवक्षेपण अभिक्रिया की परिभाषा उदाहरण के साथ उत्तर दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे कोई प्रतिफल ठोस के रूप में विलयन से पृथक हो जाता है | या अलग हो जाता है | ऐसे रासायनिक अभिक्रिया अवक्षेपण अभिक्रिया कहलाती है | जैसे :- सोडियम क्लोराइड के विलयन और सिल्वर नाइट्रेट के विलयन के बिच होने वाली उभय विस्थापन अभिक्रिया में सिल्वर क्लोराइड अवक्षेप के रूप में पृथक हो जाता है | Nacl + Agno3  – Agcl + Nano3

14. उदासीनीकरण अभिक्रिया से आप क्या समझते है’’ उदाहरण के साथ उत्तर दे ?

उत्तर – वह प्रक्रिया जिसमे कोई अम्ल किसी भष्म के साथ अभिक्रिया करके लवण और जल बनाता है | वैसे रासायनिक अभिक्रिया को उदासीनीकरण अभिक्रिया कहते है |

. हाइड्रोक्लोरिक अम्ल सोडियम हाइड्रोआक्साइड से अभिक्रिया करके सोडियम क्लोराइड और जल बनाता है |

. सल्फ्यूरिक अम्ल पोटैशियम हाइड्रोआक्साइड से अभिक्रिया करने के बाद पोटैशियम सल्फेट और जल बनाती है |

15. प्रकाश रासायनिक अभिक्रिया की परिभाषा उदाहरण के साथ दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे प्रकाश का अवशोषण होता है | उसे प्रकाश रासायनिक अभिक्रिया कहते है | जैसे :- पौधो द्वारा प्रकाश संश्लेष्ण भी प्रकाश रासायनिक अभिक्रिया का एक उदाहरण है | इसमें हरे पौधे वायु में उपस्थित कार्बन डाईआक्साइड और पृथ्वी से जल का अवशोषण सूर्य के प्रकाश की उपस्थिति में करके आपना भोजन बनाता है |

16. आँक्सिकरण की परिभाषा उदाहरण के साथ दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे किसी तत्व या यौगिक से आँक्सीजन का संयोग या किसी यौगिक से हाइड्रोजन का निष्कासन होता है | जैसे :- कार्बन को वायु या आँक्सीजन में जलाने पर कार्बन डाईआक्साइड गैस बनती है |
C + O2 – Co2 इस अभिक्रिया में कार्बन से आँक्सीजन का संयोग होता है | अतः यह एक आँक्सीजन अभिक्रिया का उदाहरण है |

17. अवकरण की परिभाषा उदाहरण के साथ उत्तर दे ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे किसी तत्व या यौगिक एक साथ हाइड्रोजन का संयोग या किसी यौगिक से आँक्सीजन का निष्काशन करता है | जैसे :- आँक्सीजन के साथ हाइड्रोजन का संयोग होने के फलस्वरूप जल का निर्माण होता है |
2H2 + O2 – 2H2O तप्त क्युप्रिक आंक्साईड्र के ऊपर हाइड्रोजन गैस प्रवाहित करने पर कॉपर धातु मुक्त होता है | इस अभिक्रिया में क्युप्रिक अक्साईड्र से आँक्सीजन का निष्कासन होता है | अतः वह अवकरण होता है |
Cuo + H2 – Cu + H2O

रासायनिक अभिक्रिया एवं समीकरण के महत्वपूर्ण प्रश्न उत्तर

18. भोजन का दुर्गंधित होना क्यों समझा जाता है | इसका क्या कारण है’’ इसे कैसे रोका जा सकता है ?

उत्तर – हम जानते है, की ताजे भोजन का गंध एवं स्वाद प्रिय होते है | यही भोजन जब खुली हवा में लम्बे समय तक छोड़ दिया जाता है | तो इसमें से दुर्गन्ध आने लगती है | और इसे बासी भोजन कहते है | इसके गंध एवं स्वाद अप्रिय हो जाने के कारण यह है | की भोजन में उपस्थित वसा और तेल काफी समय के पश्चात वायु के आँक्सीजन द्वारा आंक्सीकृत हो जाते है | जिससे उनके गंध और स्वाद अप्रिये हो जाते है |

भोजन को दूषित होने से निम्नलिखित प्रकार से रोका जा सकता है –

. वषा मुक्त भोजन में के विशेष प्रकार का पदार्थ जिसे एंटीआक्सिडेट कहते है | इसे मिला देने पर भोजन का आँक्सीजन रुक जाता है |
. भोजन को वायुरुद्र वर्तनो में रखकर भी आँक्सीजन को कम किया जा सकता है |

19. दहन की क्रिया को समझाएँ ?

उत्तर – जब कोई पदार्थ आँक्सीजन की उपस्थित में जलकर उष्मा एवं प्रकाश का उत्सर्जित करता है | उसे दहन कहते है | हमारे दैनिक जीवन में दहन की कई क्रियाएँ देखने को मिलती है | जैसे :- जलावन के रूप में लकड़ी , कोयला , किरोसिन , एल. पि. जी. गैस आदि का प्रयोग किया जाता है | इन सभी पदार्थो के जलने में आँक्सीजन एवं अवकरण अभिक्रिया होती है |

20. दहनशील और अदहनशील पदार्थ से आप क्या समझते है ?

क. दहनशील पदार्थ :- वैसा पदार्थ जो वायु की उपस्थिति में जलता है | उसे दहनशील पदार्थ कहते है |
जैसे कोयला, लकड़ी, पेट्रोलियम आदि

ख. अदहनशील पदार्थ :- वैसा पदार्थ जो नहीं जलते है | उसे अदहनशील पदार्थ कहते है | जैसे :- ईट , पत्थर , बालू आदि

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21. दहन से आप क्या समझते है’’ दहन के लिए आवश्यक शर्तो को लिखे ?

उत्तर – वैसा पदार्थ जो वायु या आँक्सीजन में जलकर ऊष्मा एवं प्रकाश की उत्पति करते है | जैसे :- कार्बन को वायु में जलाने से कार्बन डाईआक्साइड गैस बनता है | इसके अलावे ऊष्मा एवं प्रकाश की उत्पति होती है |
दहन के लिए आवश्यक शर्त
. दहनशील पदार्थ की उपस्थिति
. दहन के पोषक पदार्थ की उपस्थिति
. ज्वलन ताप की प्राप्ति

22. जवलन ताप से आप क्या समझते है ?

उत्तर – जिस न्यूनतम ताप पर कोई पदार्थ जलना प्रारम्भ करता है | उस ताप को उस पदार्थ का ज्वलन ताप कहते है |

23. जवलन से आप क्या समझते है ?

उत्तर – वैसा पदार्थ आँक्सीजन की उपस्थिति में कोई गैस धधकता है | उसे जवला कहते है | सभी दहनशील गैसे जलने पर जवला उत्पन्न करती है |
जैसे :- मोम , किरोसिन, पेट्रोल आदि

24. मोमबती की ज्वाला की बनावट को समझाएँ ?

उत्तर – मोमबती की ज्वाला में मुख्यतः तीन भाग होती है, जो इस प्रकार से है –

क. केन्द्रीय मंडल :- यह नीला रंग का होता है | इसमें बिना जले हुए मोम के वाष्प रहते है | इसमें दहन की क्रिया नहीं होती है | क्योकि वाष्प आँक्सीजन के सम्पर्क में नहीं आ पाते है | इसलिए इस भाग को केन्द्रीय मंडल या अदहन का क्षेत्र कहते है |

ख. हैदीप्यमान मंडल :- यह मोमबती की जवाला का मुख्य भाग है | इससे आँक्सीजन की अपर्याप्त आपूर्ति के कारण मोम के वाष्प वाष्प का अपूर्ण दहन होता है | अतः इसमें कार्बन के सूक्ष्म कण उपस्थित रहते है | यह जवाला का सबसे बड़ा भाग होता है | इसमें से पिला प्रकाश निकलता है |

ग. अदैदीप्यमान मंडल :- इस भाग में मोम के वाष्प का पूर्ण दहन होता है | क्योकि इसमें आँक्सीजन की आपूर्ति पर्याप्त होता है | यह ज्वाला का सबसे गर्म भाग होता है |

25. द्र्व्यभुत पेट्रोलियम गैस L.P.G से आप क्या समझते है ?

उत्तर – पेट्रोलियम गैस ब्यूटेन प्रोपेन तथा एयेन गैस का मिश्रण होता है | लेकिन इसका मुख्य अवयव ब्यूटेन होता है | यह तीव्रता से जलकर पर्याप्त मात्रा में उष्मा का उत्पति करता है | दाब बढ़ने पर यह तीनो गैस आसानी से द्र्व्यभुत हो जाते है | इस द्रव को द्र्व्यभुत पेट्रोलियम गैस अर्थात L.P.G गैस कहते है | जिसे सिलेंडर में भरकर जलावन के लिए उपभोक्ताओं को दिया जाता है |

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26. आद्दर्श ईंधन की विशेषताओं को लिखे ?

उत्तर – आद्दर्श ईंधन की निम्नलिखित विशेषताएँ है,, जो इस प्रकार से है –
. इसके भंडार और इसे एक जगह से दूसरी जगह ले जाने में कोई कठिनाई नहीं होनी चाहिए |
. ईंधन सस्ता एवं आसानी से अधिक मात्रा में उपलब्ध होना चाहिए |
. यह आसानी से जलने का लायक होता है | और जलने के फलस्वरूप किसी हानिकरक गैस की उत्पति नहीं होती है |
. इसका जलावन ताप उपयुक्त होनी चाहिए |
. इसका उष्मीय मान्य उच्च होनी चाहिए |

27. बायोगैस से आप क्या समझते है ?

उत्तर – यह गैस का वह मिश्रण है | जो आँक्सीजन की अनुपस्थिति में जैविक सामग्री के विघटन से उत्पन्न होता है ! इसका मुख्य घटक मीथेन है ! जो ज्वलनशील है | जिसे जलाने पर ताप और उर्जा मिलती है ! इस गई को जैविक गैस या बायोगै इसलिए कहा जाता है ! क्योकि इसका उत्पादन जैविक प्रक्रिया ( बायोलौजिकल ) प्रोसेस द्वारा होता है ! इसका निम्नलिखित उपयोग है |

. बायो गैस जलने पर धुँआ उत्पन्न नही करता है |
. इसके जलने से पर्याप्त उष्मा होती है |
. यह गैस घरेलू उपयोग में आसानी से लाया जा सकता है |
. गैस की समाप्ति के बाद बचा अवशिष्ट पदार्थ नाइट्रोजन और सल्फेट में कई यौगिक रहते है | अतः अवशिष्ट पदार्थ का उपयोग उर्वरक के रूप में किया जाता है |

28. ईंधन की उष्मीयमाँ से आप क्या समझते है ?

उत्तर – किसी ईंधन का उष्मीय माँ का वह मात्रा है ! जो उस ईंधन के 1 ग्राम को वायु या आँक्सीजन में जलाने के पश्चात प्राप्त होती है |

29. रासायनिक समीकरण को संतुलित क्यों किया जाता है ?

उत्तर – रासायनिक समीकरण के पहले अभिकारको के परमाणुओ अणुओ तथा मोलो की जानकारी के लिए और इससे बनने वाली उत्पाद की संगत संख्याओं की जानकारी के लिए तथा अत्यधिक सुविधा जनक बनाने के लिए रासायनिक समीकरण को संतुलित किया जाता है |

30. वायु में अनुपस्थिति में कोई पदार्थ क्यों नहीं जलते है ?

उत्तर – किसी पदार्थ को जलाने के लिए हवा की उपस्थिति होना आवश्यक है ! क्योकि कोई पदार्थ आँक्सीजन की उपस्थिति में उत्पन्न करता है ! इसी कारण वायु की अनुपस्थिति में कोई पदार्थ नहीं जलता है |

31. कॉपर सल्फेट के विलियन में लोहा का एक टुकड़ा डाल देने पर विलियन का रंग क्यों बदल जाता है ?

उत्तर – जब लोहे के टुकड़े को कॉपर सल्फेट के जलीयन विलियन में डाल दिया जाता है ! तब लोहा कॉपर सल्फेट से कॉपर को विस्थापित कर देता है ! इस अभिक्रिया के फलस्वरूप कॉपर सल्फेट का नीला रंग गायब हो जाता है ! और फेरस सल्फेट बनने के कारण विलियन का रंग हल्का हरा हो जाता है ! इसके अतिरिक्त लोहे की साथ के ऊपर हल्के लाल भूरे रंग की कॉपर की परत जमा हो जाता है |

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32. जिंक कॉपर से अधिक क्रियाशील होता है’’ कैसे ?

उत्तर – जिंक के एक टुकड़े के कॉपर सल्फेट के विलियन में डालने पर कॉपर पर कॉपर सल्फेट से कॉपर को जिंक विस्थापित कर देता है |
Zn + Cuso4 – Znso4 + Cu
इस अभिक्रिया के कारण जिंक की सतह पर हल्के रंग के कारण कॉपर की परत जमा हो जाती है ! और रंगहीन जिंक सल्फेट के बनने के कारण कॉपर सल्फेट के विलियन के नीला रंग गायब हो जाता है ! इस अभिक्रिया से यह सिद्ध होता है ! की जिंक कॉपर से अधिक क्रियाशील है |

33. आप कैसे प्रदर्शित करेंगे की कॉपर सिल्वर से अधिक क्रियाशील होता है ?

उत्तर – जब कॉपर की एक प्लेट को सिल्वर नाइट्रेट के विलियन में डाला जाता है ! तब सिल्वर कॉपर द्वारा विस्थापित हो जाता है ! Cu + 2AgNo3 – Cu ( No3 )2 + Ag इस अभिक्रिया के कारण कॉपर प्लेट की सतह पर चमकीले सिल्वर की परत बैठ जाती है ! जिससे तुलना सिंद्ध होता है ! की सिल्वर की तुलना में कॉपर अधिक क्रिया शील होता है |

34. विकृत गंधिता से आप क्या समझते है ?

उत्तर – वासा तथा तेल से बने खाद पदर्थो में अपचचन की क्रिया के कारण अरुचिकर गंध और स्वाद का उत्पन्न होना गंधिता कहलाती है |

35. वायु में जलाने से पहले मैग्नीशियम रिबार को साफ़ क्यों किया जाता है ?

उत्तर – मैग्नीशियम धातु समान ताप पर निम्न वायु के उपस्थिति में मैग्नीशियम आक्साइड बनता है ! जो मैग्निश्यम रिबन के उपरी सतह पर जमा रहता है ! इसलिए इसे वायु में जलाने से पहले सरेस कागज से रगड़ कर साफ़ कर दिया जाता है ! ताकि आसानी से आँक्सीजन से संयोग कर सकते है |

36. संक्षारण से आप क्या समझते है ?

उत्तर – वैसा वस्तुएँ जो वायु नमी या अम्ल से अभिक्रिया करके अवांछ्निए पदार्थ का निर्माण करती है ! और ढाड जाति है ! उसे संक्षारण कहते है ! यह एक रेडॉक्स अभिक्रिया है ! संक्षारण से बचने के लिए उस धातु पर पेंट कर दिया जाता है ! तथा हवा और नमी का सम्पर्क हट जाता है |

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37. रेडॉक्स अभिक्रिया से आप क्या समझते है ?

उत्तर – वैसी रासायनिक अभिक्रिया जिसमे आँक्सीकरण और अवकरण दोनों अभिक्रिया हमेशा साथ – साथ होती है ! उसे रेडॉक्स अभिक्रिया कहते है |

38. भोजन के पचना को समझाएँ ?

उत्तर – हम जो भोजन ग्रहण करते है ! तो वह हमारे शरीर के अंदर आँक्सीकृत होता है ! इस आक्सीकरण के फलस्वरूप उष्मा उत्पन्न होती है ! एवं हमें शरीरिक काम करने के लिए बल प्राप्त कराती है ! या शक्ति प्रदान करती है |

39. श्वसन की क्रिया को समझाएँ ?

उत्तर – श्वसन की क्रिया हमारी दैनिक जीवन में हमेशा होती है ! या क्रिया आँक्सीकरण अभिक्रिया का उदाहरण है ! इस क्रिया में वायु के आँक्सीजन द्वारा हमारे शरीर में उपस्थित कोशिकाओं के अणु आँक्सीकृत हो जाती है ! आँक्सीकरण की इस क्रिया के उपरांत कार्बन डाईआक्साइड बनती है | जो सांस द्वारा बाहर निकाल दी जाती है |

40. विधुत अपघटन किसे कहते है ?

उत्तर – विधुत धरा प्रवाहित करने पर वे अपघटित हो जाती है ! इस अभिक्रिया में धातु कैथोड पर और आँक्सीजन या क्लोरिन गैस एनोड पर मुक्त होती है | rasayanik abhikriya avam samikaran class 10th bihar board, bseb class 10th science chapter 1 rasayanik abhikriya avam samikaran

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